बाबा मोहनराम धाम पर शुरू हुई पांच दिवसीय खड़ी तपस्या
बाबा मोहनराम धाम पर शुरू हुई पांच दिवसीय खड़ी तपस्या
-महिला-पुरूष जुटे सेवाभाव में, भजन कीर्तन से गुंजायमान रहा धाम
मुकेश शर्मा
मेरठ/मवाना। फलावदा क्षेत्र के गांव गड़ीना स्थित बाबा मोहनराम धाम पर माह मास की धाम के महंत मंजित गुरु द्वारा बताई गई सेवाओं को करने के लिए अलग-अलग प्रदेश एवं जिलों से आई संगत ने अपनी आस्था और विश्वास-भक्ति संग बाबा मोहनराम की प्राप्ति को लेकर अधिकतर सेवकों ने सोमवार से पांच दिवसीय खड़ी तपस्या शुरू की।
धाम के महंत मंजित सिंह भगतजी ने कहा कि भक्ति भाव से जो सेवक इनकी सेवा कर लेता है, वह सेवक भव सागर से पार उतर जाता है। सेवकों को दी गई 11 से 5 दिवसीय सेवाओं में मुख्य रूप से बाबा मोहनराम के दर्शन प्राप्ति को लेकर मात्र 15 सेवक खड़ी तपस्या में लीन रहे। इस मौके पर भक्तों का जत्था उमड़ पड़ा तो वहीं धाम पर पहुंची महिला-पुरुषों ने धाम के महंत मंजित सिंह गुरु द्वारा बताई गई सेवाओं में सच्चाई संग जुटे दिखाई दिए। धाम के महंत मंजित गुरु ने बताया कि 23 फरवरी को विशाल भंडारा कर तपस्या को संपन्न कराया जाएगा। महिला श्रद्धालुओं ने भजन कीर्तन करते हुए पूरा धाम जयकारों से गूंजायमान हो गया तो वहीं भक्तों ने बाबा मोहनराम की पूजा अर्चना करते हुए पक्षियों को चुग्गा जलेरी कर धूने पर माथा टेका और फलहार का सेवन कर शाम को व्रत खोला। इस मौके पर महेंद्र सिंह, दीपक भंडारी, आशु, प्रशांत भगत, मनोज भंडारी, मुकेश शर्मा, राजेन्द्र कश्यप, अंकित, प्रिंस चौधरी, निरंकार आदि सैकड़ों मौजूद रहे।
आस्था और भक्ति का केंद्र बना धाम
गौरतलब है कि बाबा मोहनराम धाम इन दिनों आस्था और भक्ति का केंद्र बना हुआ है। दोज पर्व बाद माह मास की शुरु हुई 11 दिवसीय तपस्या में शामिल खड़ी तपस्या लोगों के आकर्षण का केंद्र बनी हुई है। धाम के महंत मंजित गुरु द्वारा बताई गई सेवाओं को करने को अलग-अलग प्रदेश, राज्य एवं जिलों से पहुंच रही संगत अपनी आस्था, भक्ति और विश्वास संग बाबा मोहनराम की प्राप्ति को लेकर अधिकतर सेवक खड़ी तपस्या में लीन हो गए हैं। धाम के महंत मंजित गुरु ने सेवकों को झूले पर झूलाया और आशीर्वाद देते हुए खड़ी तपस्या शुरू कराई।
गड़ीना में 15 सेवक कर रहे खड़ी तपस्या
धाम के महंत मंजित गुरु ने बताया कि प्रतिवर्ष की भांति माह की सेवा की शुरुआत गड़ीना बाबा मोहनराम धाम पर शुरू की गई है। इस मौके पर महिला-पुरुष भी सुबह-शाम बताई गई अर्जी अनुसार सेवा कर रहे हैं। धाम के महंत मंजित सिंह भगतजी ने कहा कि भक्ति भाव से जो सेवक इनकी सेवा कर लेता है वह सेवक भव सागर से पार उतर जाता है। सेवकों को दी गई 11 से 5 दिवसीय सेवाओं में मुख्य रूप से बाबा मोहनराम के दर्शन प्राप्ति को लेकर मात्र 15 सेवक खड़ी तपस्या में लीन रहे।
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